Khirkiya News: बिना अनुमति कॉलोनी विकसित करने पर कॉलोनी मालिक को दिया नपा ने नोटिस –

ललित बथोले, खिरकिया

Latest Khirkiya News in Hindi : खिरकिया नगर से सटे किसानी करने योग्य खेतो को खरीदकर भूमाफिया धड़ल्ले से कॉलोनी काट रहे हैं ऐसा ही एक मामला अभी अभी बेहद हाइलाइट चल रहा है ज्ञात हो कि विगत कुछ दिनों से कृषि उपज मंडी से सटे खेत में बड़ी तेजी से कॉलोनी काटी जा रही है उक्त कॉलोनी ललित कुमार पिता रंगलाल जैन के द्वारा विकसित की जा रही है जिसमे कई दलाल भी सक्रिय भूमिका निभा रहे हैं नगर के बीचों बीच कटने वाली कॉलोनी के प्लाट खरीदने की इक्षा रखने वाले भी चक्कर काटते नजर आ रहे हैं इससे ललित जैन कालोनी काटने वालो के भी हौशले बुलंद हैं और इसी घमंड में नियमो को ताक पर रखकर कॉलोनी मालिक ने कॉलोनी को अवैध रुप से विकसित की है

बगैर अनुमति के विकास कार्य कर रहा

क्लोनिनाइजर बगैर अनुमति के विकास कार्य कर रहा है जिसके कारण शुक्रवार को अनुविभागीय अधिकारी महेश कुमार बह्मना व मुख्य कार्यपालन अधिकारी राजेन्द्र श्रीवास्तव ने कॉलोनी के मौका मुआयना किया जिसमें यह पाया गया है कि एक तो वहां पुराना नाला है जिसमे बारिश का पानी वार्ड नं 8 व 9 से बड़ी मात्रा में आता है जिसकी पुलिया पीडब्ल्यूडी के द्वारा सड़क पर निर्माण कराई गई थी दूसरा वहां ललित जैन व उसके परिवार वालो के खेतों में जाने के लिए नाले पर पाइप लगाकर अस्थाई पुलिया बनाकर रास्ता बनाया गया था जिसे ललित जैन द्वार तोड़ कर समतल कर प्लाट बना दिया गया है

क्या है नोटिस में

नगर परिषद ने जो नोटिस ललित जैन को दिया है उसमे उल्लेख किया गया है कि जिला परियोजना अधिकारी शहरी विकास हरदा के पत्र क्रमांक 157 दिनांक 20 सितंबर व नगर परिषद कार्यालय के पत्र क्रमांक 912 दिनांक 19 अक्टूबर के संदर्भ में ललित द्वारा मौजा खिरकिया के खसरा नम्बर 472/2,472/8,472/13,472/14,472/7/1,472/7/2 की कुल रकबा भूमि 2.897 हैक्टेयर पर उक्त कार्यालय से बगैर अनुमति लिए विकास कार्य किया जा रहा है एवं कॉलोनी विकास अनुमति के लिए निर्धारित शुल्क जमा नही किया गया है।जो कि मध्यप्रदेश नगर पालिका( कॉलोनाइजर एक्ट रजिस्ट्रीकरण,निर्बर्धन तथा शर्तें) नियम 1998 तथा संसोधित प्रावधानों व मध्यप्रदेश राजपत्र दिनांक 13 जनवरी 22 में दिए गए प्रावधानों का उलंघन है।नगर परिषद ने ललित जैन को तत्काल विकास कार्य रोकने का आदेश जारी किया है।

कॉलोनाइजर फांसते है लोगों को बाद में लगाते हैं चक्कर

आम तौर पर देखा गया है कि कॉलोनाइजर सांठगांठ करके फर्जी दस्तावेज तैयार करके प्लाट बेच देते हैं और भोलेभाले लोगों की बड़ी जमा पूंजी हड़प कर रफूचक्कर हो जाते हैं जिसके बाद प्लाट खरीदने वाले ऑफिसों में अधिकारियों के चक्कर काटते हैं कोई सुविधा नही मिलती ना ही पूर्ण रूप से परमिशन ली जाती है बाद में यह कॉलोनी अवैध कॉलोनी बनकर रह जाती है।

इनका कहना है

हमारे द्वारा मौका मुआयना किया गया कॉलोनी मालिक को तत्काल काम रोककर कागजी कार्यवाही पूरी करने के लिए आदेशित किया गया है।

राजेन्द्र श्रीवास्तव, सीएमओ नगर परिषद

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