अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव की रेस में और बढ़े भारतीय मूल के रामास्वामी, एक घंटे में जुटाई बड़ी पूंजी…

अमेरिका में राष्ट्रपति पद के भारतीय मूल के पहले उम्मीदवार बनने की रेस में शामिल विवेक रामास्वामी को अच्चा समर्थन मिल रहा है।

रिपब्लिकन डिबेट में उनके शामिल होने के एक घंटे के अंदर ही उन्हें 4 लाख 50 हजार डॉलर का बड़ा फंड भी हासिल हुआ है। उन्हें यह रकम ऑनलाइन फंड रेजिंग के जरिए मिली है।

उन्हें डोनेट करने वाले लोगों में से प्रति व्यक्ति औसतन 38 अमेरिकी डॉलर मिले हैं।

38 साल के विवेक रामास्वामी का राष्ट्रपति पद की उम्मीदवारी के लिए साउथ कैरोलिना की गवर्नर निक्की हेली, पूर्व उपराष्ट्रपति माइक पेंस और न्यू जर्सी के पूर्व गवर्नर क्रिस क्रिस्टीस से मुकाबला है। 

डिबेट के बाद एक सर्वे हुआ है, जिसमें 28 फीसदी लोगों ने माना कि रामास्वामी का प्रदर्शन शानदार रहा है।

उनके बाद दूसरे नंबर पर फ्लोरिडा के गवर्नर रोड डेसैंटिस रहे हैं, जिन्हें 27 पर्सेंट लोगों ने बेहतर माना है। माइक पेंस को 13 फीसदी लोगों का ही समर्थन मिला है।

निक्की हेली को तो महज 7 फीसदी का ही समर्थन हासिल हुआ है। फॉक्स न्यूज की रिपोर्ट के मुताबिक रामास्वामी ऐसे रिपब्लिक कैंडिडेट हैं, जिन्हें गूगल पर सबसे ज्यादा सर्च किया गया।

इसके बाद दूसरे नंबर पर उनकी साथी भारतीय अमेरिकी निक्की हेली रही हैं। दोनों डिबेट स्टेज में आसपास ही खड़े थे।  

द वॉल स्ट्रीट जर्नल की रिपोर्ट के मुताबित विवेक रामास्वामी पहली रिपब्लिक डिबेट में छाए रहे। अखबार की यह टिप्पणी अहम है क्योंकि वह अकसर रामास्वामी की विदेश नीति की आलोचना करता रहा है।

अखबार ने लिखा, ’38 साल के विवेक रामास्वामी बुधवार को प्राइमरी डिबेट में छाए रहे।’ गौरतलब है कि विवेक रामास्वामी से उनकी हिंदू पहचान को लेकर भी पिछले दिनों अमेरिकी मीडिया में एक सवाल पूछा गया था।

इसके जवाब में उन्होंने कहा था कि मैं अमेरिका के पैस्टर इन चीफ नहीं बल्कि कमांडर इन चीफ बनने के लिए रेस में हूं।

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