बीजापुर में 30 माओवादियों ने किया आत्मसमर्पण…

उपमुख्यमंत्री शर्मा ने कहा समाज की मुख्यधारा में स्वागत है

राज्य में भाजपा की सरकार आने के बाद नक्सल मोर्चे में बिल्कुल सकारात्मक रवैया अपनाया जा रहा है।

गृहमंत्री विजय शर्मा के कमान संभालने के बाद कई रणनीतिक बैठको के परिणामस्वरूप ही नक्सल मोर्चे में अब सफल हुई है।

आज सरकार के आत्मसमर्पण और पुनर्वास नीति से प्रभावित होकर बीजापुर जिले के 30 माओवादियों ने आत्मसमर्पण किया है।

उपमुख्यमंत्री विजय शर्मा ने अपने सोशल मीडिया हैंडल एक्स पर ट्वीट कर लिखा है-बंदूक की नली से विकास का प्रकाश नहीं हो सकता।

इस बात को अब नक्सल विचारधारा से जुड़े बस्तर के भटके हुए लोग भी समझने लगे हैं और हमारी सरकार की आत्मसमर्पण एवं पुनर्वास नीति से प्रभावित होकर हिंसा का रास्ता छोड़कर समाज की मुख्य धारा में लौटने लगे हैं।

इस क्रम में आज बीजापुर के 30 माओवादियों ने पुलिस के समक्ष आत्मसमर्पण किया है। इनमें से कई ईनामी माओवादी भी रहे हैं। समाज की मुख्यधारा में इनका स्वागत है।

प्रदेश में डबल इंजन की सरकार आने के बाद से नक्सल मोर्चे पर काफी सकारात्मक चीजें दिख रही हैं।

विशेषकर मुख्यमंत्री साय और गृह मंत्री शर्मा को इस बात का श्रेय दिया जा सकता है कि उन्होंने यह समझा कि नक्सलवाद एक ऐसा कैंसर है जिसे जब तक जड़ से न मिटाया जाए, यह उभरता ही है।

इसलिए मांद में जाकर कैंप खोले गये और जवानों का हौसला बढ़ाया गया। आज इसके नतीजे जो आये हैं वो बस्तर की शांति और अमन के लिए महत्वपूर्ण हैं।

गृह मंत्री शर्मा ने इस बात को हमेशा दोहराया है कि हम लोग बस्तर में अमन के लिए प्रतिबद्ध हैं। बस्तर के लोगों को साफ पानी मिले, बिजली मिले, विकास का लाभ पहुंचे। हम संवाद करना चाहते हैं।

वे चाहे समूह में करें, प्रतिनिधियों के माध्यम से करें। बस्तर को अमन चाहिए। इसके लिए हम प्रतिबद्ध हैं।

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